बुधवार, 10 फ़रवरी 2010

bas youn hi......

आज के बच्चों को हम क्या समझायें,
ये समझते हैं कि... समझदार हैं ये  ,
अपनी मंजिल पे निगाह रखते हैं ये,
अपनी आदतों से भी लाचार हैं ये.
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किसी से मेरी मंजिल का पता पाया नहीं जाता, 
जहां में हूँ फरिश्तों से वहाँ आया नहीं जाता,
मुहब्बत के लिए कुछ खास दिल मखसूस होते हैं,
ये वो नगमा है जो हर साज़ पे गाया नहीं जाता.
 

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